बिहार के 96 शहरों को 24 घंटे निर्बाध बिजली के लिए कुछ दिन और इंतजार करना होगा। कारण,बिजली कंपनी ने केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के निर्देश पर टेंडर कैंसिल कर दिया है।
अब टर्नकी टेंडर निकालने की तैयारी शुरू की गई है। अगस्त के पहले सप्ताह में नए सिरे से विशेषज्ञ एजेंसियों को आमंत्रित किया जाएगा। टेंडर लेने वाली एजेंसी को ही सामान भी देना होगा। पुराना टेंडर पार्सियल टर्नकी निकाला गया था। इसमें कुछ सामान काम करने वाली एजेंसी को सप्लाई करनी थी। कुछ सामान बिजली कंपनी को देना था। बिजली कंपनी के अधिकारियों के मुताबिक काम समय से पूरा हुआ तो बारिश बाद नवंबर से शुरू होगा।
2300करोड़ खर्च करने की योजना
इंट्रीग्रेटेडपावर डेवल्पमेंट स्कीम के तहत 2300 करोड़ की लागत से 96 शहरों की बिजली संरचना को मजबूत करना है,ताकि इन शहरों में रहने वाले लोगों को 24 घंटे निर्बाध बिजली मिल सके। इसके लिए इन शहरों के जर्जर तारों को बदलने,पुराने पावर सब स्टेशन का जीर्णोद्धार करने,संकीर्ण गलियों में एरियल बंच केबल लगाने,315 केवीए के नए डिस्ट्रीब्यूशन ट्रांसफार्मर लगाने,बांस-बल्लो को हटाकर पोल लगाने की योजना तैयार की गई है। इसके अलावा 62 नए पावर सब स्टेशन का निर्माण किया जाएगा। इनमें दक्षिण बिहार के 17 जिलों के शहरों में 27 पावर सब स्टेशन और उत्तर बिहार के 21 जिलों के शहरों में 35 पावर सब स्टेशन बनेगा। नए पावर सब स्टेशनों के बनने के बाद 11 केवी के सभी बड़े फीडरों को छोटा किया जाएगा।
गांव में बनेंगे 294 पावर सब स्टेशन
ग्रामीणक्षेत्रों में रहने वाले उपभोक्ताओं को निर्बाध बिजली देने के लिए 294 पावर सब स्टेशन बनाए जाएंगे। इस पर दीन दयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना(डीडीयूजेजीवाई)के तहत 5700 करोड़ खर्च किए जाएंगे। इसके लिए भी नए सिरे से अगस्त में टर्नकी टेंडर निकाला जाएगा। दक्षिण बिहार के सभी 17 जिलों के ग्रामीण क्षेत्रों में 121 और उत्तर बिहार के सभी 21 जिलों के ग्रामीण क्षेत्रों में 171 पावर सब स्टेशन बनाने की योजना तैयार की गई है। इन पावर सब स्टेशनों से आम उपभोक्ताओं के घरों में बिजली पहुंचने के साथ 11 केवी का कृषि डेडिकेटेड फीडर भी निकाला जाएगा। यह फीडर किसानों के खेतों से होकर गुजरेगा,जो किसानों को सिंचाई करने के लिए निर्बाध बिजली आपूर्ति करेगी।
गौरतलब है कि बिहार में केंद्र और राज्य सरकार कई बिजली योजनाओं पर काम कर रही है। नीतीश कुमार ने सभी गांवों तक बिजली पहुचाने का वादा किया हुआ है।