जरूर पढें : आनंद कुमार के सुपर 30 के सुपर होनहार छात्र से मिलिए..
हर साल 30 गरीब होनहार बच्चों को चुन मुफ्त में IIT JEE का तैयारी करवा के उनको IIT पढ़ने का सपने सच करवाने वाले बिहार के आनंद कुमार का पटना स्थित Super 30 को आज पूरी दुनिया जानती है।
दुनिया के सबसे कठिन परिक्षाओं में शुमार IIT की प्रवेश परिक्षा को क्रैक करना आसान काम नहीं है। एसा कारनामा सुपर 30 के बच्चे हर साल करते है, इस साल भी करेंगे!
आइये मिलते है सुपर 30 के कुछ होनहार छात्रों से। जो गरीबी से लड़कर अपने सपने को लंबी उडान देने के बहुत करीब है।
पुष्कर कुमार
दर्द जब क़ाग़ज़ और आंसू स्याही बन जाए तो तकदीर के पन्नों पर जो शब्द उभरते हैं, वे इंसान की पूरी किस्मत बदल डालते हैं। पुष्कर कुमार कुछ ऐसी ही इबारत लिखने में मशगूल है। मां बीमार है और पैसे के आभाव में ऑपरेशन तो दूर दवाई तक मयस्सर नहीं | और पिता की लाचारी कि रोज़ २५ किलीमीटर साइकिल चलते हैं एक बहुत ही छोटे से प्राइवेट स्कूल में जाकर पढ़ाने के लिए ताकि कुछ चन्द रुपये महीने के कमाकर पटना जैसे शहर में पूरे परिवार का किसी तरह भरण-पोषण कर सके |
लेकिन अब पुष्कर ने मुसीबतों को गिनना छोड़ दिया है, बल्कि वह उसे एक ज़िद बना बैठा है। तमाम मजबूरियों को चुनौतियों के रूप में स्वीकार किया है उसने | वह २२ मई को होने वाले एडवांस टेस्ट के लिए पूरी तरह से तैयार है |
सुपर 30 के संस्थापक आनंद कुमार बोलते है,
“मुझे पूरा भरोसा है कि इस साल पुष्कर दुनिया को दिखायेगा कि कैसे एक सुपर 30 का विद्यार्थी विकट परिस्थितियों का सामना करते हुए भी तमाम सुविधायों से लैस रहने वाले बच्चे को मात देता है | मेरी शुभकामनाएं और आशीर्वाद तो तेरे साथ है ही पुष्कर और सबसे बड़ी बात यह कि मुझे तुम पर गर्व भी है |”
बसंत
कुछ लोग सफल होते हैं, और कुछ लोग सफलता बांटते हैं। इस तस्वीर से झांकता बसंत कुछ ऐसी ही शख्सियत का मालिक है। सिर पर बोझ उठाते तथा खेतों में घंटों काम करते हुए पंहुचा था बसंत आनंद कुमार के पास | लेकिन आज एक दुनिया ऐसी है जो खुली बाँहों से उसका इंतज़ार कर रही है। आगामी 22 मई को IIT की परीक्षा मे अपनी मेहनत के बूते बसंत धमाकेदार दस्तक देने को बेताब है।
cपूरा भरोसा है मुझे बसंत पर कि वह सफलता की वो कहानी लिखेगा जिसे दुनिया सदा याद रखेगी ।”
– आनंद कुमार
जयवीर
उत्तर प्रदेश से सुपर ३० तक पहुंचे जयवीर मेहतन के धागों से अपनी उधड़ी किस्मत सिलने में लगा है। 22 मई कोआई. आई. टी. का फाइनल इम्तहान है और पूरी ताकत झोंक रखा जयवीर ने । लेकिन कुछ दिन पहले घर से खबर आयी कि पिता घूम-घूम कर जिस ठेले पर केले बेचते हैं, उसे पुलिस ने उलटकर तोड़ दिया है और सारे केले भी बर्बाद हो गए हैं ।
फिर भी आज जयवीर का हौसला टूटा नहीं है। यह वह खबर थी जिसने जयवीर को गुस्से से भर दिया। लेकिन इसका जवाब वह कल कागज पर देगा। अपने कठिन परिश्रम से परीक्षा में अच्छे रैंक लाकर वक्त के इस सितम को करारा जवाब देगा। मां को उसने यही पैगाम दिया है कि वह इतने अच्छे रैंक से आईआईटी की प्रवेश परीक्षा पास करेगा कि उसके पिता का यह संघर्ष हमेशा-हमेशा के लिए खत्म हो जाए।
आनंद कुमार कहते है,
“सुपर 30 संचालित करते हुए मुझे इतने साल हो गए, लेकिन यूपी के सुदूरवर्ती गांव में रहने वाले जयवीर कुमार का यह दृढ़संकल्प मैंने आजतक किसी दूसरे बच्चे में नहीं पाया। उम्मीद ही नहीं बल्कि मुझे पूरा यकीन है जिंदगी से जारी इस जंग में जीत मेरे जयवीर कुमार की जरूर होगी।”
(Source: जानकारी और फोटो आनंद कुमार फेसबुक पेज से लिए गये हैं। )